राष्ट्रीय प्रस्तावना न्यूज नेटवर्क।
बांदा। जिला अस्पताल में एक बार फिर तीमारदार को बाहर की दवा लिख दी। दवा की कीमत करीब एक हजार रुपये से अधिक थी। मायूस होकर तीमारदार बिना दवा लिए ही लौैट गया। वहीं इस मामले में सीएमएस ने जांच कराने की मांग की हैै।
मुख्यमंत्री के सख्त निर्देश हैं कि जिला अस्पताल आने वाले मरीजों को बाहर की दवा न लिखी जाए। इसके बाद भी डाक्टर मनमानी पर आमादा हैं। अक्सर मरीजों को बाहर की दवा लिख देते हैं। यह दवाएं इतनी महंगी होती हैं कि मरीज खरीद तक नहीं पाते हैं। गुरुवार को महोबा से एक मरीज राजबहादुर वर्मा आए। राजबहादुर के अनुसार उन्होंने ओपीडी में चेकअप कराया। इसके बाद वहां पर तैनात डाक्टर ने बाहर की दवा लिख दी। मेडिकल पर जाकर पूछा तो मालूम हुआ कि दवा एक हजार रुपये की है। पैसे न होने के कारण वह बिना दवा लिए ही वापस लौट गए। इस माले में सीएमएस का कहना है कि अस्पताल में पर्याप्त दवाएं हैं। ऐसे में अगर कोई डाक्टर बाहर की दवा लिखता है तो जांच कर कार्यवाही करेंगे।
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